मेरठ। मेरठ के IIMT कॉलेज नमाज विवाद गरमा गया है जहां छात्रों द्वारा ग्रुप में नमाज पढ़ने का वीडियो वायरल होने के बाद विवाद बढ़ गया। हिंदू संगठनों ने इस पर आपत्ति जताई और गुरुवार को गंगानगर थाने में विरोध प्रदर्शन किया। हिंदूवादी संगठन नेता सचिन सिरोही ने आरोप लगाया कि सार्वजनिक स्थान पर हनुमान चालीसा पढ़ने पर रोक है तो यहां भी कार्रवाई होनी चाहिए। 72 घंटे बाद पुलिस ने FIR दर्ज की और जांच कमेटी बनाई गई। कॉलेज प्रशासन ने कहा कि सभी धर्मों का सम्मान किया जाता है और नमाज पढ़ना अपराध नहीं है।
पुलिस ने बयान दिया कि जांच के बाद आगे की कार्रवाई होगी। मेरठ के आईआईएमटी कॉलेज में ग्रुप में नमाज पढ़ने के मामले ने तूल पकड़ लिया है। गुरुवार को हिंदू वादी संगठन के लोग गंगानगर थाने पहुंचे थे, वहां जमकर हंगामा किया था। कहा था-पुलिस हमारी बात सुन नहीं रही है। इसके 72 घंटे बाद शनिवार को पुलिस ने FIR दर्ज की। दरअसल, 11 मार्च को खालिद मेवाती नाम के युवक ने इंस्टाग्राम पर एक वीडियो पोस्ट किया था, जिसमें कॉलेज के अंदर रमजान के दौरान छात्रों ने इकट्ठा होकर नमाज अदा कर रहे थे। इसके बाद हिंदू संगठन के नेता सचिन सिरोही ने आपत्ति जताई थी। सिरोही ने इल्जाम लगाया था कि पहले से ही कॉलेज में नमाज पढ़ी जा रही है, जो कि गलत है। उन्होंने सवाल उठाया कि पब्लिक प्लेस पर हनुमान चालीसा पढ़ने पर मुकदमा किया जा सकता है तो यहां क्यों नहीं? यूनिवर्सिटी शिक्षा का मंदिर है। जहां सनातन धर्म के अनुसार मां सरस्वती का वास होता है। यहां मां सरस्वती की मूर्ति भी स्थापित की गई है। मेरठ का पुलिस प्रशासन विश्वविद्यालय के दबाव में काम कर रहा है।